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सावधान! पानी से भी हो सकता है आई इंफेक्शन

नई दिल्लीः आजकल कॉन्टैक्ट लेंस का प्रयोग बेहद आम है, क्योंकि जैसे-जैसे कंप्यूटर और मोबाइल का चलन बढ़ता जा रहा है, वैसे-वैसे आंखों की रोशनी कम होने जैसी समस्याएं आम होती जा रही हैं. ऐसे में बहुत से लोग चश्मा लगाने की बजाय कॉन्टैक लेंस लगाना अधिक पसंद करते हैं. कुछ लोग शौकिया तौर पर भी इनका इस्तेनमाल करते हैं. अगर आप भी ऐसा करते हैं तो सावधान हो जाएं.

आई टेक विजन सेंटर की नेत्र चिकित्सक डॉ. श्रीदेवी गुंडा का कहना है कि जो लोग कॉन्टैक्ट लेंस पहनते हैं और अगर वे इनको स्विमिंग के दौरान भी पहने रहते हैं तो उनको कॉर्नियल इंफेक्शन का खतरा ज्यादा होता है, जिससे आंखों की रोशनी भी जा सकती है.

डॉ. श्रीदेवी बताती हैं कि कभी भी अपने कॉन्टैक्ट लेंस को साफ करने के लिए पानी का प्रयोग न करें. इससे वे खराब हो जाते हैं और आंखों को भी नुकसान पहुंचता है. इसके अलावा जिन लोगों का मोतियाबिंद का ऑपरेशन हुआ है, उन लोगों के लिए इस बात का ध्यान रखना बहुत जरूरी होता है कि कम से कम दो हफ्ते तक आंखों पर पानी का छिड़काव न करें. इससे आंख खराब हो सकती है और अगर पानी दूषित हुआ तो फिर खतरा अधिक हो सकता है और इस बात की संभावना बहुत ज्यादा है कि आंखों की रोशनी जा सकती है.

उन्होंने कहा कि तालाब, नदी, झरने तथा कुएं के पानी का प्रयोग करना और भी बेहद खतरनाक होता है, क्योंकि इनके पानी के दूषित होने की संभावना अधिक होती है. ऐसे में अगर इस प्रकार का पानी आंखों में जाता है तो आंखों में जलन, खुजली, लाली इत्यादि की संभावना हो सकती है.

डॉ. श्रीदेवी ने कहा कि उनके पास आंखों की समस्या से पीड़ि‍त जो भी मरीज आते हैं, उनमें से पांच फीसदी ऐसे होते हैं, जो पानी की वजह से इस समस्या की चपेट में आए होते हैं. इसलिए किसी भी प्रकार की स्वास्थ्य समस्या से बचने के लिए यह बेहद जरूरी है कि हम अपनी सेहत को नजअंदाज न करें और अगर आंखों में किसी भी प्रकार की समस्या होती है तो उसे हल्के में न लें, फौरन किसी अच्छे आई स्पेशलिस्ट से संपर्क करें, क्योंकि किसी भी समस्या को नजरअंदाज करना खतरनाक हो सकता है.

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